प्रतिदिन शाखा क्यों महत्वपूर्ण है?
"शाखा" सभी कार्यों का अधिष्ठान है क्योंकि प्रत्येक कार्य के लिए आवश्यक योग्य,समर्पित,ध्येयनिष्ठ कार्यकर्ताओं का निर्माण इस पद्धति से ही संभव। यह विगत 90 वर्षों से संघ कार्य से सिद्ध हुआ है।
* दैनिक मिलन की अभिनव कार्य पद्धति का विकास संघ ने किया।
* संग़ठन का स्वरुप प्रतिदिन निश्चित समय व निश्चित स्थान पर एकत्रित होना ।
* व्यक्ति के विकास व उसके स्वाभाविक दोषों को दूर करने के लिए निरंतर संस्कार,अभ्यास,ध्येय के अनुरूप सत्संग।
* एक घंटे संस्कार की योजना । जैसे-नित्य पूजा करना आदि।
* यह संस्कार नित्य तथा निरंतर मिलने चाहिए,अतः इसके लिए शाखा में दैनिक उपस्थिति अपेक्षित ।
* शाखा के दैनिक कार्यक्रमों से उत्साह,पराक्रम निर्भयता ,अनुशासन,सूत्रबद्धता,विजयवृति।